Sunday Worship: रविवार को सूर्य देव की कृपा पाने का आसान तरीका, स्वास्थ्य, समृद्धि और शांति के लिए! जानें संपूर्ण विधि 

Sunday Worship: रविवार को सूर्य देव की कृपा पाने का आसान तरीका, स्वास्थ्य, समृद्धि और शांति के लिए! जानें संपूर्ण विधि 



Sunday Worship: रविवार की पूजा का महत्व हिंदू धर्म में सबसे खास है. यह सूर्य देव की आराधना का दिन माना जाता है. हिंदू धर्म के अनुसार, रविवार को सूर्य भगवान की विधिपूर्वक पूजा करने से कुंडली में सूर्य ग्रह की स्थिति मजबूत होती है.  

सूर्य की पूजा करने से जीवन में स्वास्थ्य, समृद्धि और मानसिक शांति की प्राप्ति होती है. सूर्य देव ऊर्जा, स्वास्थ्य एवं सकारात्मकता के प्रतीक माने जाते हैं. रविवार के दिन उगते सूर्य को जल देने, मंत्रजाप और व्रत रखने से शरीर स्वस्थ, मन शांत तथा जीवन में सकारात्मक ऊर्जा आती है. मान्यता के अनुसार इस व्रत में नमक का सेवन, बाल या दाढ़ी कटवाना, तांबे के बर्तन बेचना वर्जित है.

स्वास्थ्य से भी जुड़ा है रहस्य

रविवार का दिन सूर्य देवता को समर्पित माना गया है. इस दिन की पूजा न केवल धार्मिक दृष्टि से शुभ है, बल्कि स्वास्थ्य, ऊर्जा और सफलता से भी जुड़ी है. अग्नि पुराण में सूर्य देव को ब्रह्म माना गया है. अग्नि और स्कंद पुराणों के अनुसार, रविवार के दिन व्रत रखने से सुख, समृद्धि, आरोग्य और मोक्ष की प्राप्ति होती है.

यह व्रत विशेष रूप से उन लोगों के लिए फलदायी है जिनकी कुंडली में सूर्य कमजोर है. रविवार को गेहूं, गुड़ या तांबे की वस्तु गरीबों को दान करें. यह सूर्य दोष को शांत करता है.

धर्म शास्त्रों में है इसका उल्लेख

स्कंद पुराण, ब्रह्मवैवर्त पुराण और पद्म पुराण में सूर्य उपासना का उल्लेख है. इसमें सूर्य की उपासना से ग्रह-नक्षण मजबूत होने की मान्यता है. माना जाता है कि सूर्यदेव जगत को प्रकाश और जीवन देते हैं. उसी तरह उनकी उपासना करने से लंबी आयु, शौर्य, तेज, सुख, समृद्ध की बढ़ोतरी होती है. पौराणिक कथा है कि सूर्य उपासना से संतान प्राप्ति, रोग निवारण भी होता है. 

सूर्य मंत्र

ॐ सूर्याय नमः
ॐ भास्कराय नमः
ॐ आदित्याय नमः
‘ॐ घृणि सूर्याय नमः’ या ‘ॐ ह्रां ह्रीं ह्रौं सः सूर्याय नमः’ मंत्र का जाप करें. 

पूजन विधि:

रविवार को सूर्योदय से पूर्व उठकर स्वच्छ होकर स्नान करें. लाल वस्त्र धारण करने के बाद तांबे के लोटे में जल, लाल चंदन, लाल पुष्प और अक्षत मिलाकर सूर्य को अर्घ्य दें. तांबे के लोटे में जल लें और उसमें लाल फूल, अक्षत, गुड़, और लाल चंदन मिला कर सूर्य की ओर मुख करके जल अर्पित करें.

मंदिर या पूजा स्थल को साफ करने के बाद गंगाजल छिड़ककर शुद्ध करें. एक चौकी पर कपड़ा बिछाकर पूजन सामग्री रखें, फिर सूर्य देव की पूजा करें, फिर व्रत कथा सुनें और उनकी पूजा करें.  मान्यता है कि रविवार व्रत की कथा सुनने से या पढ़ने से परिवार में शांति और समृद्धि आती है.

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