स्वस्थ शरीर-सशक्त राष्ट्र: खेलो में पतंजलि आयुर्वेद का बढ़ा निवेश, प्रतिभा को पोषण देने की मुहिम

स्वस्थ शरीर-सशक्त राष्ट्र: खेलो में पतंजलि आयुर्वेद का बढ़ा निवेश, प्रतिभा को पोषण देने की मुहिम



पतंजलि का दावा है कि भारत में खेलों का विकास तेजी से हो रहा है और इसमें पतंजलि आयुर्वेद का बड़ा योगदान है. अब कंपनी न सिर्फ आयुर्वेदिक उत्पाद बनाती है, बल्कि खेल क्षेत्र में भी सक्रिय भूमिका निभा रही है. हाल ही में भारतीय हॉकी टीम के साथ साझेदारी ने सबका ध्यान खींचा है. यह साझेदारी खिलाड़ियों को आर्थिक मदद और प्राकृतिक उत्पाद प्रदान करती है, जिससे वे बेहतर प्रदर्शन कर सकें. पतंजलि का मानना है कि आयुर्वेद और खेल का मेल भारतीय संस्कृति को मजबूत करता है. 

भारतीय हॉकी टीम को दी वित्तीय सहायता- पतंजलि

पतंजलि का दावा है, ”भारतीय हॉकी टीम को वित्तीय सहायता दी है, ताकि ट्रेनिंग और टूर्नामेंट में कोई कमी न रहे. पहले फंडिंग की कमी से टीम को परेशानी होती थी, लेकिन अब यह समस्या दूर हो रही है. कंपनी खिलाड़ियों को हर्बल जूस, प्रोटीन शेक और स्पोर्ट्स न्यूट्रिशन सप्लीमेंट देती है. ये उत्पाद रासायनिक रहित हैं, जो ऊर्जा बढ़ाते हैं, स्टैमिना मजबूत करते हैं और चोटों से जल्दी रिकवरी कराते हैं. ट्रेनिंग कैंप में आयुर्वेदिक थेरेपी भी उपलब्ध कराई जाती है, जो तनाव कम करती है और फोकस बढ़ाती है. ओलंपिक और एशिया कप में ब्रॉन्ज मेडल जीतने के बाद यह साझेदारी टीम को और ऊंचाइयों तक ले जाने में मदद करेगी. पतंजलि के इस कदम से लाखों प्रशंसकों में देशभक्ति की भावना जागी है.”

कंपनी ने कुश्ती इवेंट्स को किया स्पॉन्सर- पतंजलि

पतंजलि का कहना है, ”कंपनी का खेलों से जुड़ाव पुराना है. कंपनी ने कुश्ती इवेंट्स को स्पॉन्सर किया है, जो भारतीय परंपरा का हिस्सा है. इसके अलावा उत्तराखंड प्रीमियर लीग (यूकेवीपीएल) के पहले सीजन के लिए टाइटल स्पॉन्सर बनी है. यह क्रिकेट टूर्नामेंट स्थानीय खिलाड़ियों को मौका देता है, और पतंजलि का साथ इसे और मजबूत बनाता है. कंपनी ने राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंट में भारतीय टीमों का समर्थन किया है, जिससे युवा खिलाड़ियों को बेहतर संसाधन मिले. पतंजलि का कहना है कि आयुर्वेद से जुड़े उत्पाद खेलों में प्राकृतिक फिटनेस लाते हैं, जो लंबे समय तक असरदार होते हैं.”

ग्रामीण क्षेत्रों में खेल सुविधाओं का हो रहा विकास- पतंजलि

पतंजलि का दावा है, ”इस प्रतिबद्धता से भारत का खेल तंत्र मजबूत हो रहा है. ग्रामीण क्षेत्रों में खेल सुविधाओं का विकास हो रहा है और युवाओं को प्रेरणा मिल रही है. पतंजलि न सिर्फ पैसे देती है, बल्कि तकनीकी मदद भी प्रदान करती है. इससे खिलाड़ी वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा कर पा रहे हैं. उदाहरण के लिए, हॉकी टीम अब अंतरराष्ट्रीय मुकाबलों में बेहतर तैयारी कर रही है. कंपनी का विजन है कि आयुर्वेद के जरिए खेल संस्कृति को बढ़ावा देकर भारत को खेल महाशक्ति बनाया जाए.”



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