‘भारत से रिश्ते में हसीना के प्रत्यर्पण का मुद्दा बाधा नहीं’, बोले बांग्लादेश के विदेश सलाहकार – Sheikh Hasina extradition issue not a hurdle in relations with India says Bangladesh foreign advisor Mohammad Tauheed Hussain ntc

‘भारत से रिश्ते में हसीना के प्रत्यर्पण का मुद्दा बाधा नहीं’, बोले बांग्लादेश के विदेश सलाहकार – Sheikh Hasina extradition issue not a hurdle in relations with India says Bangladesh foreign advisor Mohammad Tauheed Hussain ntc


बांग्लादेश ने भारत से अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग को दोहराया है, लेकिन साफ कहा कि सिर्फ यह अकेला मुद्दा दोनों देशों के रिश्तों में बाधा नहीं बनेगा. बांग्लादेश के विदेश मामलों के सलाहकार मोहम्मद तौहीद हुसैन ने रविवार को मीडियाकर्मियों से कहा कि भारत के साथ हमारे द्विपक्षीय संबंध एक मुद्दे पर अटककर नहीं रहेंगे. उन्होंने जोर देकर कहा कि हसीना को अब दोषी ठहराया जा चुका है, इसलिए भारत से उनके जल्द से जल्द प्रत्यर्पण की उम्मीद है.

बांग्लादेश के इंटरनेशनल क्राइम ट्रिब्यूनल ने 17 नवंबर को शेख हसीना को फांसी की सजा सुनाई थी. उन्हें यह सजा पिछले साल छात्र आंदोलन पर उनकी सरकार की क्रूर कार्रवाई के लिए ‘मानवता के खिलाफ अपराध’ का दोषी पाए जाने पर दी गई. छात्रों के उग्र और हिंसक आंदोलन ने 5 अगस्त 2024 को हसीना की सरकार गिरा दी थी, जिसके बाद उन्हें भारत भागने पर मजबूर होना पड़ा था. बांग्लादेशी अदालत ने उन्हें पहले ही भगोड़ा घोषित कर दिया था.

भारत से बेहतर रिश्तों की उम्मीद: तौहीद हुसैन

मोहम्मद तौहीद हुसैन ने कहा कि मुहम्मद यूनुस की अंतरिम सरकार के तहत भारत को ‘नई हकीकतों’ के साथ तालमेल बिठाने में थोड़ा समय लगेगा. फिर भी, उन्होंने बेहतर रिश्तों की उम्मीद जताई. उन्होंने कहा, ‘हम भारत के साथ हित-आधारित बेहतर कामकाजी संबंध चाहते हैं.’ पिछले हफ्ते ही बांग्लादेश ने भारत को आधिकारिक पत्र भेजकर 2013 के प्रत्यर्पण संधि का हवाला देते हुए 78 वर्षीय शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग की थी.

यह भी पढ़ें: बांग्लादेशी लड़कियां और नौकरी का झांसा… दलालों ने पार कराया बॉर्डर, क्या धोखे की शिकार हुईं या कोई और मकसद?

इससे पहले दिसंबर 2024 में भी बांग्लादेश की अंतरिम सरकार ने शेख हसीना के प्रत्यर्पण को लेकर एक नोट वर्बल भेजा गया था, भारत ने जिसके सिर्फ प्राप्ति की पुष्टि की थी, लेकिन कोई जवाब नहीं दिया. हुसैन का कहना है कि स्थिति अब अलग है, क्योंकि हसीना के खिलाफ न्यायिक प्रक्रिया पूरी हो चुकी है और उन्हें मानवता के खिलाफ अपराध का दोषी मानते हुए फांसी की सजा सुनाई गई है. इससे पहले गत 20 नवंबर को बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के कानूनी सलाहकार आसिफ नजरुल ने कहा था कि हम इंटरनेशनल क्राइम कोर्ट जाने पर विचार कर रहे हैं ताकि फरार दोषियों को वापस लाया जा सके. 

हम बांग्लादेश के हितों के प्रति प्रतिबद्ध: भारत

उन्होंने कहा था, ‘भारत पर शेख हसीना को बांग्लादेश को लौटाने की अतिरिक्त जिम्मेदारी है.’ भारत की तरफ से विदेश मंत्रालय ने कहा कि हमने शेख हसीना को मिली सजा का संज्ञान लिया है. भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, ‘एक करीबी पड़ोसी के रूप में भारत बांग्लादेश के लोगों के हितों के प्रति प्रतिबद्ध है, जिसमें शांति, लोकतंत्र, समावेश और स्थिरता शामिल है. हम सभी हितधारकों के साथ रचनात्मक संवाद जारी रखेंगे.’ 

—- समाप्त —-



Source link

Leave a Reply