Thrusday: ज्ञान और समृद्धि का प्रतीक है पीला रंग, गुरुवार को पीला कपड़े के महत्व को समझें

Thrusday: ज्ञान और समृद्धि का प्रतीक है पीला रंग, गुरुवार को पीला कपड़े के महत्व को समझें


गुरुवार के व्रत और भगवान विष्णु की आराधना में पीली वस्तुओं का भी विशेष महत्व होता है. मान्यता है कि इस दिन पीला वस्त्र पहनना चाहिए. पीले रंग के खाद्य पदार्थों और पीले फूलों को भी शुभ माना गया है. क्योंकि पीला रंग बृहस्पति ग्रह से जुड़ा है. पीला रंग संपन्नता और खुशी का भी प्रतीक है.

गुरुवार के व्रत और भगवान विष्णु की आराधना में पीली वस्तुओं का भी विशेष महत्व होता है. मान्यता है कि इस दिन पीला वस्त्र पहनना चाहिए. पीले रंग के खाद्य पदार्थों और पीले फूलों को भी शुभ माना गया है. क्योंकि पीला रंग बृहस्पति ग्रह से जुड़ा है. पीला रंग संपन्नता और खुशी का भी प्रतीक है.

इस दिन पीले वस्त्र पहनकर भगवान विष्णु की पूजा करने से वे प्रसन्न होते हैं. हिंदू परंपरा में किसी भी शुभ कार्य के लिए भी पीले रंग का सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है. इस पवित्र दिन पर भक्तों को अपने बाल–दाढ़ी नहीं बनवाना चाहिए. कपड़े धोने को भी वर्जित माना गया है.

इस दिन पीले वस्त्र पहनकर भगवान विष्णु की पूजा करने से वे प्रसन्न होते हैं. हिंदू परंपरा में किसी भी शुभ कार्य के लिए भी पीले रंग का सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है. इस पवित्र दिन पर भक्तों को अपने बाल–दाढ़ी नहीं बनवाना चाहिए. कपड़े धोने को भी वर्जित माना गया है.

गुरुवार को पूजा के लिए सूर्योदय से पहले उठ जाना चाहिए. नित्यकर्म के बाद पीला वस्त्र पहनकर पूरे घर में गंगाजल छिड़कना चाहिए. इसके बाद पूजा घर में भगवान विष्‍णु की मूर्ति या चित्र स्थापित करें. फिर पीले रंग के गंध-पुष्प और अक्षत चढ़ाएं. इसके बाद चना-गुड़ और मुनक्‍का चढ़ाकर विधि- विधान से पूजन शुरू करें.

गुरुवार को पूजा के लिए सूर्योदय से पहले उठ जाना चाहिए. नित्यकर्म के बाद पीला वस्त्र पहनकर पूरे घर में गंगाजल छिड़कना चाहिए. इसके बाद पूजा घर में भगवान विष्‍णु की मूर्ति या चित्र स्थापित करें. फिर पीले रंग के गंध-पुष्प और अक्षत चढ़ाएं. इसके बाद चना-गुड़ और मुनक्‍का चढ़ाकर विधि- विधान से पूजन शुरू करें.

ऐसी मान्यता है कि पीला वस्त्र पहनकर इस दिन का व्रत रखने से पितृ दोष समाप्त होता है. घर में सुख-शांति आती है. विधि विधान से इस दिन पूजा करने से माता लक्ष्मी के साथ भगवान विष्णु का आशीर्वाद प्राप्त होता है. इस व्रत के प्रभाव से घर की दरिद्रता दूर हो जाती है और सुख समृद्धि आती है.

ऐसी मान्यता है कि पीला वस्त्र पहनकर इस दिन का व्रत रखने से पितृ दोष समाप्त होता है. घर में सुख-शांति आती है. विधि विधान से इस दिन पूजा करने से माता लक्ष्मी के साथ भगवान विष्णु का आशीर्वाद प्राप्त होता है. इस व्रत के प्रभाव से घर की दरिद्रता दूर हो जाती है और सुख समृद्धि आती है.

इस दिन का व्रत रखने से भगवान बृहस्पति के आशीर्वाद से ज्ञान और बुद्धि प्राप्त होती है. माना जाता है कि भगवान विष्णु ज्ञान के केंद्र और सभी देवताओं के गुरु हैं. हिंदू ग्रंथों में वर्णन है कि भगवान बृहस्पति भगवान विष्णु के अवतार हैं. इस दिन पर पूजा के लिए आप   ''धर्मशास्तार्थतत्वज्ञ ज्ञानविज्ञानपारग. विविधार्तिहराचिन्त्य देवाचार्य नमोऽस्तु ते॥'' मंत्र का  जाप करें. इसके बाद व्रत की कथा पढ़ें.

इस दिन का व्रत रखने से भगवान बृहस्पति के आशीर्वाद से ज्ञान और बुद्धि प्राप्त होती है. माना जाता है कि भगवान विष्णु ज्ञान के केंद्र और सभी देवताओं के गुरु हैं. हिंदू ग्रंथों में वर्णन है कि भगवान बृहस्पति भगवान विष्णु के अवतार हैं. इस दिन पर पूजा के लिए आप ”धर्मशास्तार्थतत्वज्ञ ज्ञानविज्ञानपारग. विविधार्तिहराचिन्त्य देवाचार्य नमोऽस्तु ते॥” मंत्र का जाप करें. इसके बाद व्रत की कथा पढ़ें.

गुरुवार को व्रत के दौरान श्रद्धालु पीली चीजों का दान कर सकते हैं. ऐसा करने से पुण्य फलों की प्राप्ति होती है. इसमें पीला वस्त्र, केसर, हल्दी, पीली दाल का दान करना शुभ माना गया है.

गुरुवार को व्रत के दौरान श्रद्धालु पीली चीजों का दान कर सकते हैं. ऐसा करने से पुण्य फलों की प्राप्ति होती है. इसमें पीला वस्त्र, केसर, हल्दी, पीली दाल का दान करना शुभ माना गया है.

Published at : 02 Oct 2025 05:00 AM (IST)



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