मोकामा में बाहुबली फाइट… तेजस्वी क्या सूरजभान सिंह के सहारे अनंत सिंह का किला भेद पाएंगे? – bihar mokama seat bahubali anant singh surajbhan singh jdu rjd political fight ntcpkb

मोकामा में बाहुबली फाइट… तेजस्वी क्या सूरजभान सिंह के सहारे अनंत सिंह का किला भेद पाएंगे? – bihar mokama seat bahubali anant singh surajbhan singh jdu rjd political fight ntcpkb


बिहार विधानसभा चुनाव के टिकट बंटने के साथ ही मुकाबला काफी रोचक होता जा रहा है. पूर्व सांसद सूरजभान सिंह ने पशुपति पारस की पार्टी एलजेपी का साथ छोड़ दिया है. उन्होंने एलजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है. इसके बाद सूरजभान ने तेजस्वी यादव से मुलाकात कर आरजेडी का दामन थाम लिया है.

सूरजभान सिंह के आरजेडी में शामिल होने के साथ ही मोकामा सीट पर बाहुबली फाइट की सियासी पटकथा लिख दी गई है. मोकामा सीट पर सूरजभान सिंह की पत्नी वीणा देवी आरजेडी की उम्मीदवार हैं, जिनके सामने जेडीयू के टिकट पर बाहुबली अनंत सिंह पहले से मैदान में ताल ठोक रहे हैं.

पटना जिले में मोकामा विधानसभा सीट अब सबसे हॉट सीट बन गई है, क्योंकि यहां दो बाहुबलियों की वर्चस्व की लड़ाई बन गई है. अनंत सिंह और सूरजभान सिंह की पत्नी के बीच सीधी टक्कर होने जा रही है.

सूरजभान की पत्नी मोकामा से लड़ेंगी चुनाव

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 सूरजभान सिंह का नाम नब्बे के दशक में अंडरवर्ल्ड और बिहार की सियासत दोनों में गूंजता था. मोकामा विधानसभा सीट से 2000 में सूरजभान सिंह भी विधायक रह चुके हैं. उन्होंने अनंत सिंह के बड़े भाई और तत्कालीन मंत्री दिलीप सिंह को हराया था. इस बार सूरजभान ने अपनी पत्नी वीणा देवी को आरजेडी के टिकट पर मोकामा सीट से उतार दिया है.

सूरजभान सिंह ने थामा आरजेडी का दामन

वीणा देवी मुंगेर से एलजेपी की सांसद रह चुकी हैं और मोकामा सीट पर अनंत सिंह के खिलाफ मैदान में उतरने जा रही हैं. जेडीयू से अनंत सिंह को टिकट मिलने के बाद सूरजभान ने पशुपति पारस की पार्टी छोड़ दी है और बुधवार को तेजस्वी यादव से मुलाकात की. तेजस्वी ने वीणा देवी को मोकामा सीट से प्रत्याशी बनाया है.

मोकामा सीट पर दो बाहुबलियों की फाइट

मोकामा सीट पर बाहुबलियों का प्रभाव रहा है. 1990 से लेकर 2020 तक इस सीट पर अनंत सिंह और उनके परिवार का दबदबा रहा है. मोकामा सीट पर जेडीयू के टिकट पर अनंत सिंह एक बार फिर मैदान में हैं. अनंत सिंह ने नामांकन भी दाखिल कर दिया है. 2005 से लेकर 2020 तक लगातार अनंत सिंह जीत रहे हैं. इस बार सूरजभान की पत्नी वीणा देवी से अनंत सिंह को सामना करना होगा.

बाहुबली और मुंगेर के पूर्व विधायक सूरजभान सिंह की पत्नी वीणा देवी आरजेडी का दामन थामकर उतर गई हैं. सूरजभान और उनके भाई पूर्व सांसद चंदन सिंह ने अपने समर्थकों के साथ आरजेडी की सदस्यता ग्रहण कर ली है. बिहार के इतिहास में एक दौर था जब रेलवे का कोई ठेका सूरजभान के सिग्नल के बिना पास ही नहीं होता था. पटना से गोरखपुर तक उनकी पहचान बताई जाती थी.

बृज बिहारी प्रसाद हत्याकांड में दोषी ठहराए जाने के बाद सूरजभान को चुनावी राजनीति से बाहर होना पड़ा. फिर राजनीति की कमान उनकी पत्नी वीणा देवी और भाई चंदन सिंह के हाथों में चली गई. दोनों सांसद बने और एक वक्त में दिल्ली से लेकर मोकामा तक सूरजभान फैक्टर फिर से दिखना शुरू हुआ. और अब वहीं मोकामा फिर से सुर्खियों में है.

मोकामा सीट का सियासी समीकरण

 मोकामा सीट हमेशा से जातीय और सामाजिक समीकरणों के आधार पर प्रभावित होती रही है. यहां पर यादव, भूमिहार, कुशवाहा, मुस्लिम वोटरों की संख्या निर्णायक भूमिका निभाती है. अनंत सिंह भूमिहार समुदाय से आते हैं और इस वर्ग में उनकी अच्छी पकड़ भी है. वहीं पर आरजेडी को यादव और मुस्लिम वोटरों का जो परंपरागत समर्थन है, वह मिलता रहा. ऐसे में दोनों के बीच में मुकाबला त्रिकोणीय के बजाय अब सीधे तौर पर कांटे का भी हो सकता है.

25 साल पहले इसी सीट पर अनंत सिंह के बड़े भाई दिलीप सिंह को हराकर सूरजभान सिंह विधायक बने थे और उस चुनाव ने मोकामा की राजनीति की दिशा ही बदल दी थी. अब वही सीन एक बार फिर से बनता दिख रहा है. अनंत सिंह मोकामा क्षेत्र में अपनी मजबूत पकड़ के लिए जाने जाते हैं. मोकामा की राजनीति में उनकी मजबूत पकड़ मानी जाती है तो सूरजभान की भी अपनी सवर्ण वोटों पर पकड़ है. ऐसे में यादव और मुस्लिम वोटों को जोड़कर अनंत सिंह के किले को ध्वस्त करने की रणनीति बनाई है.

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