राजवीर जवंदा बाइक चलाने के शौकीन थे। अकसर वह अपनी मोटरसाइकिल पर लंबे- लंबे टूर पर जाते रहते हैं।
पंजाबी सिंगर राजवीर जवंदा का बुधवार (8 अक्टूबर) सुबह 10.50 बजे मोहाली के फोर्टिस अस्पताल में निधन हो गया। उन्होंने 35 साल की उम्र में आखिरी सांस ली। राजवीर जवंदा का जन्म लुधियाना में पौना गांव में हुआ था।
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छोटी उम्र में ही वह सिंगिंग करते थे। दूरदर्शन की टीम ने पहली बार उनकी तारीफ की तो जवंदा ने रियाज शुरू कर दिया। इसके बाद वह पंजाब पुलिस में कॉन्स्टेबल भी रहे लेकिन सिंगिंग के लिए नौकरी छोड़ दी।
यही नहीं, जब दिल्ली बॉर्डर पर किसान आंदोलन हुआ तो परफॉर्मेंस के दौरान उन्हें पिता के मौत की सूचना मिली, इसके बावजूद उन्होंने स्टेज पर गाना कंप्लीट किया और तब अंतिम संस्कार के लिए घर रवाना हुए।
उनके गानों में कभी कोई लचरता नजर नहीं आई। सिंगिंग के बाद जवंदा ने एक्टिंग में भी हाथ आजमाए और उसमें भी उन्हें कामयाबी हासिल हुई। 27 सितंबर को पिंजौर में हुए हादसे के दौरान वह जख्मी हुए थे।
राजवीर के दादा सौदागर सिंह और पिता रिटायर्ड ASI कर्म सिंह का निधन हो चुका है। दादी सुरजीत कौर और पूर्व सरपंच मां परमजीत कौर जवंदा के साथ ही रहती थीं।
जवंदा की पत्नी अशविंदर कौर के अलावा 2 बच्चे, बेटी हेमंत कौर और बेटा दिलावर सिंह हैं। जवंदा की एक बहन कमलजीत कौर भी है।

मां परमजीत कौर के साथ राजवीर जवंदा की फोटो।- फाइल
सिलसिलेवार ढंग से जानिए राजवीर जवंदा की कहानी…
- दूरदर्शन टीम से पहली तारीफ मिली: जवंदा के पैतृक गांव पौना में गुरुद्वारा साहिब के ग्रंथी गुरमीत सिंह ने बताया कि जब राजवीर छोटा था तो उनकी मां परमजीत कौर गांव की सरपंच हुआ करती थीं। तब दूरदर्शन की टीम मेरा पिंड-मेरा खेत की शूटिंग करने गांव में आई। उसकी कुछ शूटिंग राजवीर के घर भी हुई। तब दूरदर्शन की टीम के सामने राजवीर ने 2 लाइनें गाईं तो टीम के सदस्यों ने उसे शाबाशी दी और कहा कि तेरी आवाज अच्छी है। वहीं से उसका सिंगिंग की तरफ झुकाव हुआ। उसने रियाज शुरू कर दिया।
- पंजाबी यूनिवर्सिटी से MA किया: राजवीर ने जगराओं के सन्मति विमल जैन स्कूल से स्कूली पढ़ाई की। फिर जगराओं के DAV कॉलेज से ग्रेजुएशन किया। इसके बाद पढ़ाई के लिए पटियाला गए। जहां पंजाबी यूनिवर्सिटी से थिएटर एवं टेलीविजन में MA की डिग्री हासिल की।
- पिता पुलिस में थे, खुद भी कॉन्स्टेबल भर्ती हुए: राजवीर के पिता कर्म सिंह पंजाब पुलिस में असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर थे। इसलिए राजवीर का झुकाव भी पंजाब पुलिस की तरफ हुआ। राजवीर 2011 में पंजाब पुलिस में कॉन्स्टेबल के तौर पर भर्ती हुए। उन्होंने जगराओं में ड्यूटी भी की। मगर, सिंगिंग का शौक भी बरकरार रहा। वह पुलिस में रहते भी गाते रहते थे। करीब 8 साल बाद 2019 में जब राजवीर को लगा कि अब सिंगिंग में करियर की लाइन क्लियर है तो उन्होंने पुलिस की नौकरी छोड़ दी।

राजवीर जवंदा 2011 में पंजाब पुलिस में कॉन्स्टेबल के तौर पर भर्ती हुए थे।
- स्टेज पर मिली थी पिता की मौत की सूचना, फिर भी गाते रहे: साल 2020-21 में जब दिल्ली बॉर्डर पर किसान आंदोलन हुआ तो राजवीर भी किसानों के समर्थन में पहुंचे। यहां राजवीर आंदोलन में बैठे किसानों के लिए स्टेज पर मुफ्त गाने गाते थे। एक दिन जब वे गाना गा रहे थे तो उनके पिता की मौत हो गई। उसी वक्त उन्हें सूचना दी गई लेकिन राजवीर कार्यक्रम खत्म होने तक स्टेज पर गाना गाते रहे। परफॉर्मेंस खत्म होने के बाद राजवीर ने सबको पिता के निधन की बात बताई और तेजी से पिता के अंतिम संस्कार के लिए गांव निकल गए।
बाइकिंग का शौक था, उसी में हादसा हो गया
राजवीर जवंदा को बाइकिंग का बहुत शौक था। वह अक्सर बाइकर्स के साथ पहाड़ी क्षेत्रों में घूमने के लिए जाते थे। इस दौरान वह होटल में ठहरने के बजाय रोड साइड पर ही कैंपिंग करते थे।
राजवीर ने कुछ महीने पहले ही 27 लाख की नई BMW बाइक खरीदी थी। सोशल मीडिया पर भी उन्होंने फैंस के लिए यह जानकारी शेयर की। एक गाने में भी उसे यूज किया।
जिस वक्त हादसा हुआ, वह इसी BMW बाइक पर थे। जिस दौरान उन्होंने बाइकिंग से जुड़े सारे सेफ्टी गियर्स भी पहने हुए थे।
गांव के सरपंच हरप्रीत सिंह बताते हैं कि राजवीर और उसके दोस्त 5 बाइक पर सवार थे। राजवीर के आगे और पीछे 2–2 बाइक वाले थे। इसी दौरान सांड लड़ते हुए आए।
उनसे बचने के चक्कर में राजवीर की बाइक गाड़ी से टकरा गई। जिससे सिर और रीढ़ की हड्डी पर गंभीर चोट आई। हादसे के बाद राजवीर को 2 अस्पतालों में फर्स्ट एड के लिए ले जाया गया।

सरपंच हरप्रीत सिंह के साथ राजवीर की फोटो। फाइल
राजवीर जवंदा की सिंगिंग जर्नी के बारे में जानिए…
- मुंडा लाइक मी से शुरुआत, बुट्टर संग कोलेब किया: गांव के सरपंच हरप्रीत सिंह बताते हैं कि राजवीर ने जब एजुकेशन पूरी की तो उसके बाद पुलिस अफसर बनने के लिए सिंगिंग छोड़ दी थी। मगर, यह शौक ज्यादा दिन तक दबा नहीं रहा। 2014 में राजवीर ने अपनी मुंडा लाइक मी के नाम से सोलो एल्बम निकाली। यहीं से सिंगिंग करियर की शुरुआत हुई। इसके बाद हिट म्यूजिक सखियां के लिए जाने जाते सिंगर मनिंदर बुट्टर के साथ कोलेबोरेशन किया। दोनों ने साथ में गीत ‘वैर’ रिकॉर्ड किया।
- कली जवंदे दी से मिली पहचान, मुकाबला से हिट हुए: साल 2016 में राजवीर ने कली जवंदे दी एल्बम निकाली। जिससे पंजाबी म्यूजिक इंडस्ट्री में उन्हें पहचान मिली। इसके अगले ही साल मुकाबला सॉन्ग से वह हिट हो गए। इसके बाद पटियाला शाही पग, केसरी झंडे, शौकीन, लैंडलॉर्ड, सरनेम समेत उनके कई हिट सॉन्ग आए। 2017 में माही शर्मा के साथ उनके कंगणी सॉन्ग सबसे ज्यादा पॉपुलर हुआ।
- एक्टिंग में भी कामयाबी मिली: सिंगिंग में करियर चमकने के बाद राजवीर ने एक्टिंग में हाथ आजमाया। 2018 में पंजाबी फिल्म सूबेदार जोगिंदर सिंह से डेब्यू किया, जिसमें सिपाही बहादुर सिंह का किरदार निभाया। इसके बाद काका जी, जिंद जान, मिंदो तहसीलदारनी, सिंकदर-2 जैसी कई फिल्मों में एक्टिंग की।