तालिबान-पाकिस्तान में दोस्ती कराने चले थे जिनपिंग और बढ़ गई दुश्मनी! अब क्या कह रहा चीन? – china concern pakistan afghanistan border conflict peace appeal ntcprk

तालिबान-पाकिस्तान में दोस्ती कराने चले थे जिनपिंग और बढ़ गई दुश्मनी! अब क्या कह रहा चीन? – china concern pakistan afghanistan border conflict peace appeal ntcprk


अपना स्वार्थ साधने के लिए चीन अफगानिस्तान और पाकिस्तान को साथ लेने के लिए जी-तोड़ मेहनत कर रहा था. लेकिन हाल ही में दोनों पक्षों के बीच लड़ाई से चीन के माथे पर बल पड़ गए हैं. पाकिस्तान अफगानिस्तान सीमा पर शनिवार रात दोनों पक्षों के बीच भीषण संघर्ष देखने को मिला. पाकिस्तान और अफगानिस्तान, दोनों ही एक-दूसरे पर हमले का आरोप लगा रहे हैं. इस हमले को लेकर अब चीन का भी बयान सामने आ गया है.

चीन ने कहा है कि वो दोनों देशों के बीच हुए संघर्ष को लेकर चिंतित है. चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लिन जियान ने सोमवार कहा, ‘चीन आशा करता है कि दोनों देश दूर की सोचते हुए शांत और संयमित रहेंगे, बातचीत के जरिए आपसी चिंताओं को हल करने पर अडिग रहेंगे. हमें उम्मीद है कि दोनों पक्ष संघर्षों को बढ़ाने से बचेंगे, और मिलकर अपने देशों और क्षेत्र में शांति और स्थिरता बनाए रखेंगे.’

पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच सीमा झड़पों में दर्जनों तालिबानी लड़ाके और पाकिस्तानी सैनिक मारे गए हैं. समाचार एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, तालिबान के सत्ता में लौटने के बाद से पाकिस्तान-अफगानिस्तान के बीच यह सबसे गंभीर लड़ाई है. 

पाकिस्तानी सेना और तालिबान, हमले को लेकर दोनों क्या कह रहे? 

पाकिस्तानी सेना का कहना है कि तालिबान के लड़ाकों और उनके सहयोगी आतंकी गुटों ने शनिवार देर रात पाकिस्तानी सीमा पर हमला किया. पाकिस्तानी सेना का दावा है कि तालिबान लड़ाकों ने बिना किसी उकसावे के हमला किया और सेना चौकियों को निशाना बनाया.

पाकिस्तानी सेना का कहना है कि हिंसक झड़प में उसके 23 सैनिक मारे गए जबकि 29 घायल हुए. पाकिस्तान ने दावा किया कि उसके हमले में तालिबान के 200 से ज्यादा लड़ाके मारे गए. लेकिन तालिबान ने पाकिस्तान के इन दावों को गलत करार दिया है.

तालिबान का कहना है कि पाकिस्तान ने पहले अफगानिस्तान की हवाई सीमा का उल्लंघन किया जिसके बाद जवाब में अफगानिस्तान ने हमले किए. तालिबान के एक प्रवक्ता ने जानकारी दी कि उन्होंने पाकिस्तान के 58 सैनिक मारे हैं.

पाकिस्तान-अफगानिस्तान की दुश्मनी पर चीनी प्रवक्ता ने और क्या कहा?

इस हमले को लेकर चीन चिंतित है. प्रेस ब्रीफिंग में चीनी प्रवक्ता लिन ने कहा, ‘हाल ही में पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच संघर्ष हुए हैं, जिससे दोनों देशों के संबंध तनावपूर्ण हो गए हैं. हम इसे लेकर बेहद चिंतित हैं.’

लिन ने कहा कि ‘पाकिस्तान और अफगानिस्तान दोनों चीन के मैत्रीपूर्ण पड़ोसी हैं. एक-दूसरे के अविभाज्य पड़ोसी होने के नाते, अच्छे संबंध बनाए रखना, सामाजिक-आर्थिक विकास करना और मिलकर आतंकवाद का मुकाबला करना दोनों पक्षों के मौलिक और दीर्घकालिक हितों को पूरा करता है.’

प्रवक्ता ने यह भी उल्लेख किया कि पाकिस्तान-अफगानिस्तान संबंधों में सुधार और विकास को बढ़ावा देने में चीन रचनात्मक भूमिका निभाना जारी रखने को तैयार है.

लिन ने आगे कहा कि चीन ने दोनों पक्षों से आग्रह किया है कि वे अपने-अपने देशों में चीनी वर्कर्स, प्रोजेक्ट्स और संस्थानों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए ठोस उपाय करें.

पाकिस्तान-अफगानिस्तान तनाव को लेकर चीन की चिंता जायज

पाकिस्तान-अफगानिस्तान के बीच विवाद बढ़ने से चीन की चिंता जायज है क्योंकि वो अपने चाइना-पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) का विस्तार अफगानिस्तान तक कर रहा है. कुछ महीने पहले ही अफगानिस्तान ने चीन के CPEC प्रोजेक्ट का हिस्सा बनने के लिए एक समझौते पर हामी भरी थी.

यह प्रोजेक्ट चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव (BRI) का फ्लैगशिप प्रोजेक्ट है. अफगानिस्तान तक इसके विस्तार के लिए पाकिस्तान के साथ उसके स्थिर संबंध जरूरी है लेकिन हालिया तनाव को देखते हुए यह मुश्किल लग रहा है. ऐसे में चीन का फिक्रमंद होना जायज है. 

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