‘पाकिस्तान फिर हारा है… वो जीत नहीं सकता इसलिए हाइब्रिड वॉर पर उतरा…’, डिफेंस एक्सपर्ट ने दुश्मन की खोली पोल – india today conclave conventional war or hybrid under nuclear umbrella

‘पाकिस्तान फिर हारा है… वो जीत नहीं सकता इसलिए हाइब्रिड वॉर पर उतरा…’, डिफेंस एक्सपर्ट ने दुश्मन की खोली पोल – india today conclave conventional war or hybrid under nuclear umbrella


भारत और पाकिस्तान के बीच तनावपूर्ण रिश्ते हमेशा से चर्चा का विषय रहे हैं. हाल ही में किंग्स कॉलेज लंदन के एसोसिएट प्रोफेसर वॉल्टर सी. लैडविग तृतीय और पूर्व नेशनल साइबर सिक्योरिटी कोऑर्डिनेटर लेफ्टिनेंट जनरल राजेश पंत इंडिया टुडे कॉनक्लेव में आए. उन्होंने ‘Conventional Wars under the Nuclear Umbrella: The India-Pakistan Conundrum’ पर बात की. आइए, जानते हैं मुख्य बातें. 

तीन बड़े घटनाक्रम: उरी से सिंदूर तक

चर्चा में 2016 के उरी हमले, 2019 के बालाकोट एयरस्ट्राइक और 2025 के ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र आया. इन तीनों घटनाओं में पारंपरिक युद्ध, न्यूक्लियर धमकी और हाइब्रिड वॉर (मिश्रित युद्ध) का मिश्रण दिखा. ऋषभ पंत ने कहा कि ये घटनाएं दिखाती हैं कि दोनों देश न्यूक्लियर हथियारों की छाया में छोटे-मोटे संघर्ष कैसे लड़ते हैं.

https://www.youtube.com/watch?v=N0WUsIMLFQw

यह भी पढ़ें: म्यूजियम में जाएंगे या कबाड़ में… जानें एयरफोर्स से रिटायर हुए 28 मिग-21 फाइटर जेट्स का अब क्या होगा

क्रिया-प्रतिक्रिया का चक्र: न्यूक्लियर इस्तेमाल मुश्किल क्यों?

वॉल्टर लैडविग ने कहा कि क्रिया की प्रतिक्रिया होती है. पाकिस्तान अगर कुछ करता है, तो भारत जवाब देगा. लेकिन न्यूक्लियर हथियारों का इस्तेमाल बहुत मुश्किल है. इसलिए छोटे युद्ध होते रहते हैं. उन्होंने पाकिस्तान की रणनीति पर बात की कि वह स्ट्रैटेजिक न्यूक्लियर हथियारों का इस्तेमाल कर सकता है.

ऋषभ पंत ने दो डॉक्ट्रिन (नीतियां) का जिक्र किया. अगर न्यूक्लियर इस्तेमाल होता है, तो वह छोटा और सीमित होगा. लेकिन एस्केलेशन (तनाव बढ़ना) को मैनेज करना बहुत जरूरी है. वॉल्टर ने जोड़ा कि युद्ध क्षैतिज (सामान्य) होता है, लेकिन न्यूक्लियर युद्ध ऊर्ध्वाधर (सीधी चढ़ाई वाला) है. छोटे न्यूक्लियर हथियारों का खतरा ज्यादा है.

india today conclave future forward

हाइब्रिड वॉर: पाकिस्तान की मुख्य रणनीति

ऋषभ पंत ने हाइब्रिड वॉर को विस्तार से समझाया. यह संपर्क और गैर-संपर्क युद्ध का मिश्रण है – जैसे भौगोलिक हमले, साइबर अटैक, पेजर हमले (पेजर डिवाइस पर हमला) और ऑपरेशनल टेक्नोलॉजी पर प्रहार. उन्होंने कहा कि हाइब्रिड वॉर बहुत बड़ा है. पाकिस्तान पारंपरिक युद्ध नहीं लड़ पाएगा, इसलिए प्रॉक्सी एक्टर्स के जरिए हाइब्रिड ही करेगा.

वॉल्टर ने पाकिस्तान के बदलाव पर बात की. वह आतंकी संगठनों को अलग-अलग कर रहा है. दूसरे देशों से संपर्क बढ़ा रहा है. लेकिन सर्जिकल स्ट्राइक के बाद पाकिस्तान कुछ कर नहीं पाया. ऑपरेशन सिंदूर में भारत के हमले ने पाकिस्तान की हालत खराब कर दी. पाकिस्तान ने झटका बर्दाश्त किया, लेकिन मुंह नहीं दिखा पाया.

यह भी पढ़ें: भारत का पहला सुपरसोनिक जेट, जंग में वीरता की हिस्ट्री, 60 साल… मिग-21 Farewell तस्वीरों में

सूचना युद्ध: झूठी खबरों का जाल

चर्चा में सूचना युद्ध पर जोर दिया गया. वॉल्टर ने कहा कि पब्लिक में गलत सूचनाएं बहुत फैलाई जाती हैं. इससे फैसला लेने वालों पर असर पड़ता है. पाकिस्तान ने ऑपरेशन सिंदूर में जीत के नैरेटिव गढ़े. लंदन में रहते हुए वॉल्टर को फ्रांस और चीन के हथियारों पर कई झूठी कहानियां सुनने को मिलीं.

ऋषभ ने बताया कि सूचना फैलने के कई स्तर हैं – मंत्रालय, सेना का सिस्टम और साइबर स्पेस. चीन में भी जिनपिंग के अंदर साइबर स्पेस आता है. उन्होंने नूर खान में हुए नुकसान का जिक्र किया. अमेरिका बगराम क्यों चाहता है? कुछ न कुछ लिंक तो होना चाहिए. चीन का डिफेंस सिस्टम तबाह हो गया, इसलिए भारत को खुश होना चाहिए. 

यह भी पढ़ें: यूरी गागरिन जैसे स्पेससूट पहनकर उड़ाना पड़ता था MiG-21, रूसी कोडिंग से पड़ता था पायलटों का पाला!

कौन जीता ऑपरेशन सिंदूर?

वॉल्टर ने साफ कहा कि भारत ने टारगेट अचीव किया. भारत ने 11 पाकिस्तानी एयरबेस पर हमला किया. मिलिट्री टारगेट अचीव हुए – एयरबेस और डिफेंस सिस्टम उड़ाए गए. भारत ने अपनी क्षमता दिखाई. पाकिस्तान की आर्मी चीफ आसिम मुनीर की मुश्किलें बढ़ गईं. ऋषभ ने कहा कि हाइब्रिड वॉर में प्रॉक्सी महत्वपूर्ण हैं, लेकिन पाकिस्तान पारंपरिक जंग नहीं झेल पाएगा.

संतुलन बनाए रखना जरूरी

यह चर्चा बताती है कि न्यूक्लियर युग में भारत-पाकिस्तान के बीच युद्ध छोटे, सीमित और हाइब्रिड रूप में ही होंगे. एस्केलेशन को रोकना और सूचना युद्ध से सावधान रहना जरूरी है. वॉल्टर और ऋषभ की राय है कि भारत ने अपनी ताकत साबित की है, लेकिन पाकिस्तान की चालाकियां जारी रहेंगी. 

—- समाप्त —-



Source link

Leave a Reply